ये तो महज़ एक छोटी सी शुरुआत है,
अभी तो बाकी पूरी बरसात है,
ऐसे सोता हूं सोना मालूम नहीं पड़ता,
मुझे मेरा ही होना मालूम नहीं पड़ता।
अब भी बरसात की रातों में बदन टूटता है,
जाग उठती हैं अजब ख़्वाहिशें अंगड़ाईयों की।
वो मेरे रु-ब-रु आया भी तो बरसात के मौसम में,
मेरे आँसू बह रहे थे और वो बरसात समझ बैठा।
ये जो बरसात पड़ रही है इसमें भी कोई बात है,
लगता है आज फिर किसी का दिल टुटा है।
मुझे भाता है हर पल ही तुम्हारे साथ का मौसम,
कभी ये धूप गरमी की कभी बरसात का मौसम।
हैं तेरे संग जो बीती सभी शामें हसीं बीती,
मुझे अब याद आता है, वो मिठी बात का मौसम।
बरसात की भीगी रातों में फिर कोई सुहानी याद आई,
कुछ अपना जमाना याद आया कुछ उनकी जवानी याद आई,
हम भूल चुके थे जिसने हमें दुनिया में अकेला छोर दिया,
जब गौर किया तो एक सूरत जानी पहचानी याद आई।
पन्नें उलटे उम्र के, पलट गयी बरसात,
आँखों आँखों में कटी, कल की भीगी रात।
हैं इस हवा में क्या क्या, बरसात की बहारें,
सब्ज़ों की लहलहाहट, बाग़ात की बहारें।
मौसम बरसात का आया,
बहुत खुशियां साथ लाया,
मुस्कान चेहरे पर सबकी,
साथ अपने बहुत सौगात लाया।
भीगी सी याद भुली हुई बात,
भुला हुआ वक्त वो भीगी सी आँखें,
वो बीता हुआ साथ,
मुबारक हो आपको साल की पहली बरसात।
जब जब आता है यह बरसात का मौसम,
तेरी याद होती है साथ हरदम,
इस मौसम में नहीं करेंगे याद तुझे यह सोचा है हमने,
पर फिर सोचा की बारिश को कैसे रोक पाएंगे हम।
ये बरसात की बुंदे बहुत कुछ कह जाती है,
पल दो पल मे ये बंद भी हो जाती है|
आशिक तो आँखों की बात समझ लेते हैं,
सपनो में मिल जाये तो मुलाकात समझ लेते हैं,
रोता तो आसमान भी है अपने बिछड़े प्यार के लिए,
पर लोग उसे बरसात समझ लेते हैं।
वक्त के साथ बरसात के मायने बदल गए,
जो बरसात बचपन में हमें सुकून देती थी ,
आज वही बरसात हमें अपने,
टूटे हुए रिश्ते के दर्द का एहसास दिलाती है।
देखा बिन मौसम बरसात आई है,
बड़ी खुशनुमा शाम साथ लाई है।
रात आयी बरसात भी लायी,
उसकी याद भी साथ लाई,
रात गई बरसात भी गयी,
पर उसकी याद नही गई।
बरसात का मज़ा तेरे गेसू दिखा गए,
अक्स आसमान पर जो पड़ा अब्र छा गए।
कुछ तो चाहत रही होगी,
ईन बरसात की बुंदों कि भी,
वरना कोन गिरता है जमीन पर,
आसमान तक पहुँचने के बाद।
अब ना तुम साथ हो, बस एक यादों की बरसात हो,
जो बस भिगाये ये मनन मेरा, चाहे शाम हो या सवेरा।
बादल गरज उठे हैं लगता है कयामत आने वाली है,
बड़े जोर से मोहब्बत की बरसात आने वाली है,
वो जो इश्क़ के खिलाफ़ रहते हैं वो दरवाजे बन्द रखें,
उनके घर भी बारिश के बूंदों की बारात आने वाली है।