हर इक पल सामने मेरे तुम्हारा ही ये चेहरा हो,
तुम्हारी ही महक लाता हवाओं का ये पहरा हो,
तुम्हारे प्यार में पागल हुआ दिल कह रहा है अब,
तुम्हें मुझ पर भरोसा और गहरा और गहरा हो।
सिखा दिया दुनिया ने मुझे अपनो पर भी शक करना,
मेरी फितरत में तो गैरों पर भी भरोसा करना था।
भरोसा मत करना इस दुनिया के लोगो पर,
मुझे तबाह करने वाले मेरे बहुत अजीज थे।
झड़ गए पत्ते उम्मीदों के सारे,
मग़र जड़ भरोसे की मजबूत बहुत है।
जिंदगी का भरोसा नहीं कब तक साथ निभाएगी,
पर मौत पर ऐतबार है एक दिन ज़रूर आएगी।
आजकल न जाने कब,
बदल जाए इंसान भरोसा नहीं,
कहते हैं जो भरोसा करो हम पर,
अक्सर भरोसा तोड़ते हैं वहीं।
आप जिस पर आँख बंद करके भरोसा करते हैं,
अक्सर वही आप की आँखें खोल जाते है।
जब कोई आपसे अपनी,
हर बात शेयर करने लगता है,
तो समझ जाना की वो आप पर,
खुद से ज़्यादा भरोसा करता है।
एक बार फ़िर शक भरोसे से सबूत मांग रहा है,
हँस रही है क़िस्मत, फ़िर एक रिश्ता दफ़न हो रहा है।
मेरे दिल कि सरहद को पार न करना,
नाजुक है दिल मेरा वार न करना,
खुद से बढ़कर भरोसा है मुझे तुम पर,
इस भरोसे को तुम बेकार न करना।