अगर ज़िन्दगी में कुछ बड़ा करना तो,
एक बात हमेशा याद रखना,
प्यार,इश्क़,मोहब्बत से,
हमेशा दूर ही रहना।
वही है जिन्दा, जिसकी आस जिन्दा है,
वही है जिन्दा, जिसकी प्यास जिन्दा है,
श्वास लेने का नाम ही जिंदगी नहीं,
जिन्दा वही है, जिसका विश्वास जिन्दा है।
सुख दुःख की धूप-छाँव से आगे निकल के देख,
इन ख्वाहिशों के गाँव से आगे निकल के देख,
तूफान क्या डुबायेगा तेरी कश्ती को,
आँधियों की हवाओं से आगे निकल दे देख।
नहीं चल पायेगा वो एक पग भी,
भले बैसाखियाँ सोने की दे दो,
सहारे की जिसे आदत पड़ी हो,
उसे हिम्मत खड़े होने की दे दो।
जो खैरात में मिलती कामयाबी,
तो हर शख्स कामयाब होता,
फिर कदर न होती किसी हुनर की,
और न ही कोई शख्स लाजवाब होता।
25 की उम्र में लोग शादी करके,
अपने बच्चों के बारे में सोचते है,
और मुझे मेरी माँ को AUDI के,
आगे वाली सीट पर बैठाना है।
बूझी शमां भी जल सकती है,
तूफ़ान से कश्ती भी निकल सकती है,
होके मायूस यूँ ना अपने इरादे बदल,
तेरी किस्मत कभी भी बदल सकती है।
जिसमे उबाल हो ऐसा खून चाहिये,
जीत के खातिर ऐसा जुनून चाहिए,
ये आसमान भी आएगा ज़मीन पर,
बस इरादों में ऐसी गूंज होनी चाहिये।
नज़र-नज़र में उतरना कमाल होता है,
नफ़स-नफ़स में बिखरना कमाल होता है,
बुलंदियों पे पहुँचना कोई कमाल नहीं,
बुलंदियों पे ठहरना कमाल होता है।
जो फ़कीरी मिजाज़ रखते हैं,
वो ठोकरों में ताज रखते हैं,
जिनको कल की फ़िक्र नहीं,
वो मुठ्ठी में आज रखते हैं।
मुश्किलों से भाग जाना आसान होता है,
हर पहलू ज़िन्दगी का इम्तिहान होता है,
डरने वालों को मिलता नहीं कुछ ज़िन्दगी में,
लड़ने वाले के कदमों में जहान होता है।
ज़िन्दगी बस एक हसीन ख़्वाब है,
दिल में जीने की चाहत होनी चाहिये,
ग़म खुद ही ख़ुशी में बदल जायेंगे,
सिर्फ मुस्कुराने की आदत होनी चाहिये।
तकदीरें बदल जाती हैं,
जब ज़िन्दगी का कोई मकसद हो,
वर्ना ज़िन्दगी कट ही जाती है
तकदीर को इल्ज़ाम देते देते।
जिंदगी में छांव है तो कभी धूप है,
ऐ जिंदगी न जाने तेरे कितने रूप है,
जिंदगी में हालात जो भी हों,
लेकिन जिंदगी में मुस्कुराना नही भूला करते हैं।
ना थके कभी पैर ना कभी हिम्मत हारी है,
हौंसला है ज़िन्दगी में कुछ कर दिखाने का,
इसलिए अभी भी सफर जारी है।
किसी भी उम्मीद के बिना,
हमेशा सबका अच्छा करने की कोशिश करना,
क्योंकि किसी ने कहा है की, जो लोग फूल बेचते है,
उसके हाथों में खुश्बू रह ही जाती है।
होके मायूस न यूं शाम से ढलते रहिये,
ज़िन्दगी भोर है सूरज सा निकलते रहिये,
एक ही पाँव पे ठहरोगे तो थक जाओगे,
धीरे-धीरे ही सही राह पे चलते रहिये।
फिकर मत कर बन्दे कलम कुदरत के हाथ है,
लिखने वाले ने लिख दिया तकदीर तेरे साथ है,
फिकर करता है क्यूँ फिकर से होता है क्या,
रख खुदा पे भरोसा देख फिर होता है क्या।
जो इस वक्त मुस्कुरा रहा है, कभी उसे दर्द ने पाला होगा,
और जो इस वक्त चल रहा, उसके पैर में ज़रूर छाला होगा।
बिना मेहनत के कोई भी चमक नही सकता,
जो दिया जल रहा है उसी से ही तो उजाला होगा।
जल को बर्फ़ में बदलने में वक्त लगता है,
सूरज को निकलने में वक्त लगता है,
किस्मत को तो हम बदल नही सकते ,
लेकिन अपने हौसलो से किस्मत बदलने में वक्त लगता है।